कटंगी। देश भर के ग्रामीण डाक कर्मचारियों ने अपनी 07 सूत्रीय मांगों को लेकर अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू की है। यहां कटंगी-तिरोड़ी तहसील के ग्रामीण डाक कर्मचारी भी इस हड़ताल में शामिल होकर कटंगी मुख्यालय के डाकघर परिसर में हड़ताल पर बैठे हुए थे। जिन्हें 04 दिन बाद शुक्रवार को परिसर से बाहर कर दिया गया है अब डाक कर्मचारी सड़क किनारे बैठकर धरना दे रहे है। इसके अलावा ग्रामीण डाक कर्मचारियों की हड़ताल समाप्त कराने के लिए लगातार कर्मचारियों को काम पर लौटने का नोटिस भी थमाया जा रहा है मगर, ग्रामीण डाक कर्मचारी अपनी मांगों को लेकर अड़े हुए है। शनिवार को डाक कर्मचारी शहर में पैदल रैली निकालकर जनता से हड़ताल में सहयोग की अपील करेंगें। कटंगी-तिरोडी सहित समूचे बालाघाट जिले के ग्रामीण डाक कर्मचारी अखिल भारतीय डाक सेवक संघ के बैनर तले हड़ताल पर है जिससे ग्रामीण अंचलों में डाक विभाग से जुड़े तमाम कामकाज प्रभावित हो रही है।
     ग्रामीण डाक कर्मचारियों ने बताया कि उनकी प्रमुख मांगों में 08 घंटे काम और पेंशन सहित सभी लाभ प्रदान करना प्रमुख रूप से शामिल है। इसके अलावा नियमित कर्मचारियों के समान 1 जनवरी 2016 से टीआरसी (समय संबंधी निरतंरता भत्ता) का 12,24 और 36 वर्ष की सेवा पूरी करने पर तर्कसंगत निर्धारण, वरिष्ट नागरिकों बंचिंग के लिए वेटेज वृद्धि, समयबृद्ध वित्तिय उन्नयन सहित कमलेश चन्द्र समिति की सिफारिशे जिसमें समूह बीमा कवरेज 05 लाख रुपए तक बढ़ाने, विभागीय कर्मचारियों के साथ समानता में जीडीएस ग्रेच्युटी में वृद्धि करने, 180 दिनों की संवैतनिक छुट्टी को आगे बढ़ाना आर उसका नगरीकरण करना शामिल है का तत्काल कार्यान्वयन करने की मांग शामिल है। ग्रामीण डाक कर्मचारियों ने सभी प्रोत्याहन योजनाओं/ प्रणालियों को समाप्त कर जीडीएस द्वारा लिए गए सभी कार्यों जैसे आईपीपीबी, पीएलआई, बचत योजनाओं और एमजीएनआरईजीएस को उनके कार्यभार मूल्याकंन में शामिल करने, जहां भी लागू हो एसडीबीएस (सेवा निर्वहन लाभ भत्ता) में जीडीएस और विभाग के योगदान को 03 प्रतिशत से बढ़ाकर 10 प्रतिशत करने और सभी सेवानिवृत्त जीडीएस को पेंशन प्रदान करने की मांग शामिल है। वहीं ग्रामीण डाक कर्मचारियों ने समाज कार्य कार्यभार के लिए लिए समान वेतन के सिद्धांतों के तहत 05 घंटे के काम के लिए नियोजित नए कर्मचारियों को कार्यभार के आधार पर वार्षिक वेतन वृद्धि और टीआरसीए जैसे टीआरसीए देने में सभी भेदभाव समाप्त करने, जीडीएस और नियमित कर्मचारियों के लिए वार्षिक वेतन वृद्धि निकालने में एकरूपता सुनिश्चित करने की मांग की जा रही है। वहीं व्यावसायिक लक्ष्यों के रुप में जीडीएस द्वारा सामना किए जाने वाले सभी प्रकार के उत्पीडऩ को रोके और उन्हें फेसबुक और इन्टाग्राम जैसे सोशल मीडिया प्लेटफार्मों का पालन करने की उनकी इच्छा या क्षमता के विरुद्ध अपने स्वयं के मोबाइल उपकरणों का उपयोग करने के लिए मजबूर करें और अंतिम मांग है कि सेवाओं को बढ़ाने और तेज करने के लिए सभी शाखा कार्यालयों में लैपटॉप, प्रिंटर और ब्रांडबैड नेटवर्क प्रदान किया जाए। फिलहाल तो ग्रामीण डाक कर्मचारियों की लगातार 04 दिनों से अनिश्चितकालीन हड़ताल जारी है और इस हड़ताल को समाप्त करने के लिए ग्रामीण डाक कर्मचारियों विभागीय स्तर पर परेशान कर डराने की कोशिश जारी है।